
जब तेज़ बारिश के बाद बाढ़ की उफनती लहरों ने मालदेवता-केसरवाला मार्ग को निगल लिया, तो रायपुर और टिहरी जिले के कई गांवों का दुनिया से संपर्क टूट गया। ग्रामीणों की रोज़मर्रा की ज़िंदगी थम सी गई थी। लेकिन अब, प्रशासन की तेज़ कार्रवाई और मेहनत से महज दो दिन में अस्थायी सड़क का निर्माण कर दिया गया है, जिससे लोगों को बड़ी राहत मिली है।
गढ़वाल कमिश्नर विनय शंकर पाण्डेय ने शुक्रवार को स्वयं मौके पर पहुंचकर स्थिति का जायजा लिया। उन्होंने अधिकारियों को निर्देशित किया कि अस्थायी मार्ग को मजबूत और सुरक्षित बनाया जाए, ताकि जब तक स्थायी सड़क नहीं बनती, तब तक लोगों को कोई परेशानी न हो। साथ ही, बाढ़ जैसी आपदाओं से भविष्य में सड़क की सुरक्षा के उपाय करने को भी कहा।
स्थानीय विधायक उमेश शर्मा ‘काऊ’ ने बताया कि मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के निर्देशों पर सभी विभागों ने रात-दिन मेहनत कर यह कार्य दो दिन में पूरा किया। उन्होंने कहा कि इस मार्ग के चालू होने से न केवल रायपुर क्षेत्र, बल्कि टिहरी के सकलाना जैसे दूरस्थ इलाकों के लोगों को राहत मिली है, जो पिछले कुछ दिनों से अलग-थलग पड़ गए थे।
विधायक ने लोगों से अपील की है कि बरसात के दिनों में विशेषकर रात में इस मार्ग पर सावधानी से यात्रा करें, क्योंकि फिलहाल यह अस्थायी है। उन्होंने भरोसा दिलाया कि स्थायी सड़क का निर्माण शीघ्र शुरू होगा और जल्द ही आवागमन पूरी तरह से सामान्य हो जाएगा।
लोगों का कहना है कि यह सड़क उनके लिए सिर्फ एक रास्ता नहीं, बल्कि जीवन रेखा है — जो उन्हें शिक्षा, स्वास्थ्य, रोज़गार और दुनिया से जोड़ती है। दो दिन में सड़क बनना किसी चमत्कार से कम नहीं।