नेपाल में फैली हिंसा की लपटें अब भारत-नेपाल सीमा तक पहुँच गई हैं। उत्तराखंड के सीमावर्ती ज़िलों — पिथौरागढ़, चंपावत और ऊधमसिंहनगर — में तनाव का माहौल है। लोगों की आवाजाही सीमित कर दी गई है और सीमा क्षेत्र में पुलिस व सशस्त्र बलों की मौजूदगी बढ़ा दी गई है।
सरकारी सूत्रों के अनुसार, नेपाल में कानून व्यवस्था की स्थिति बिगड़ने के बाद भारत की ओर से सुरक्षा एजेंसियों को अलर्ट पर रखा गया है। पुलिस और SSB मिलकर गश्त कर रहे हैं, ताकि कोई संदिग्ध गतिविधि सीमा पार न हो सके।
आईजी कानून व्यवस्था डॉ. नीलेश आनंद भरणे ने जानकारी दी कि सभी सीमावर्ती थानों को निर्देश दिए गए हैं कि वे SSB के संपर्क में रहें और इंटेलिजेंस इनपुट्स पर तत्काल प्रतिक्रिया दें। पुलिस मुख्यालय खुद इन ज़िलों से हर घंटे रिपोर्ट ले रहा है।
स्थानीय प्रशासन ने सोशल मीडिया पर भी सख्ती बढ़ा दी है। हिंसा से जुड़ी अफवाहें फैलाने वाले खातों को चिन्हित किया जा रहा है। लोगों से अपील की गई है कि वे केवल विश्वसनीय स्रोतों से ही जानकारी साझा करें, ताकि माहौल और न बिगड़े।
गांवों के लोग भी डरे हुए हैं। बॉर्डर से सटे इलाकों में रात को सन्नाटा पसरा रहता है। प्रशासन ने सभी को आश्वस्त किया है कि सुरक्षा व्यवस्था चाक-चौबंद है और किसी भी परिस्थिति से निपटने के लिए तैयारियां पूरी हैं।
फिलहाल हालात नियंत्रण में हैं, लेकिन सीमाओं पर खामोशी के पीछे एक गहरी सतर्कता छिपी है।
